जिला प्रशासन की पहल पर कुपोषण मुक्ति के लिए पोट्ठ लईका विशेष अभियान प्रारंभ

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राजनांदगांव। जिला प्रशासन की पहल पर कुपोषण मुक्ति के लिए पोट्ठ लईका विशेष अभियान प्रारंभ किया जा रहा है। जिसके लिए कलेक्टर संजय अग्रवाल की उपस्थिति में आज जिला पंचायत सभाकक्ष में छुरिया, डोंगरगांव और राजनांदगांव विकासखंड में अभियान के संचालन के लिए मास्टर ट्रेनर्स का प्रशिक्षण आयोजित किया गया। कलेक्टर श्री अग्रवाल ने सभी अधिकारियों को बच्चों में कुपोषण मुक्ति और किशोरी बालिकाओं तथा महिलाओं के स्वास्थ्य के स्तर में सुधार के लिए दिल से काम करने के लिए प्रेरित किया। कलेक्टर ने कहा कि इस कार्य को समुदाय के प्रति अपनी जिम्मेदारी मानते हुए समुदाय के साथ मिलकर कार्य करें। उन्होंने कहा कि जिले के कुपोषित बच्चे को सुपोषण की श्रेणी में लाने के लिए जनसहभागिता से सघन अभियान चलाकर यह कार्य किया जायेगा। उन्होंने महिलाओं और किशोरी बालिकाओं को प्रति शुक्रवार स्वास्थ्य और पोषण संबंधी जानकारी देने के लिए कहा। कलेक्टर संजय अग्रवाल के नेतृत्व एवं जिला पंचायत सीईओ सुश्री सुरूचि सिंह के निर्देशन में यह विशेष अभियान चिन्हांकित क्षेत्रों में सघन तौर पर चलाया जाएगा। कुपोषण मुक्ति के इस अभियान में यूनिसेफ, एबिस तथा जिले के अन्य सामाजिक संस्थाओं द्वारा भी सहयोग किया जाएगा।
कार्यशाला में जिला पंचायत सीईओ सुश्री सुरूचि सिंह द्वारा सभी प्रतिभागियों को इस अभियान से जुड़ने के लिए प्रेरित किया गया। उन्होंने सभी अधिकारियों को इस कार्यक्रम में उनके दायित्वों की जानकारी दी गई तथा जिले को कुपोषण मुक्त बनाने के लिए सभी विभागों को संयुक्त प्रयास के लिए प्रेरित किया गया। इस प्रशिक्षण में संबंधित विकासखंडों के महिला एवं बाल विकास विभाग के परियोजना अधिकारी और पर्यवेक्षक, स्वास्थ्य विभाग के ब्लॉक स्तरीय अधिकारी, सुपरवाइजर और एनआरएलएम के पदाधिकारी उपस्थित हुए। प्रशिक्षण में एबीस और यूनिसेफ के सहयोग से अभियान प्रारंभ करने के लिए कार्ययोजना पर चर्चा की गई। प्रशिक्षण कार्यक्रम में यूनिसेफ से पोषण विशेषज्ञ सुश्री रीमा कुमारी, महेंद्र तथा चंदन द्वारा प्रशिक्षणार्थी को कुपोषण, उसके कारण और दुष्परिणाम तथा कुपोषण मुक्ति के लिए किए जाने हेतु कार्य योजना पर प्रशिक्षण दिया गया। साथ ही समुदाय से किस प्रकार परिचर्चा की जाए और माताओं से किस तरह काउसलिंग की जानी है, इस पर चर्चा की गई। प्रशिक्षण में समुदाय स्तर पर कुपोषण रोकथाम की कार्ययोजना पर चर्चा हुई। प्रशिक्षण के पश्चात इन मास्टर ट्रेनर्स द्वारा मैदानी स्तर पर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, मितानिन और महिला स्वसहायता समूह की महिलाओं को प्रशिक्षण दिया जायेगा।